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सोमवार, 3 अक्तूबर 2011

फेसबुक पर जिन्न की तरह मत रहो Be active on facebook

आज मेरा एक दोस्त मिला उससे हाय हलो करने के बाद उसने मुझे बताया कि आजकल नौकरी करने में मजा नही आ रहा,यार भगत भाई तुम कुछ बताओं क्या करें और पता नही पूरी दुनियादारी की बाते लेकर बैठ गया । कुछ देर तक तो मैने उसे नजरअंदाज किया तो वह कुछ समझ गया और मुझसे बोला यार तुमने मुझे फेसबुक पर भी अनफ्रेंड कर दिया है। तुम यार मुझे इगनोर करने लगे हो। थोड़ी देर तो मैने उसकी बात टाली लेकिन लास्ट मैने उससे कहा कि यार ये प्राब्लम हम सब की लाईफ में होती है। अब तुम्हारे अंदर क्या चल रहा है जब तक तुम्हारे दोस्तों को पता नही पडेÞगा वो तुम्हारी समस्या का हल कैसे बताऐंगे। तुम रोज फेसबुक यूस करते हो तुम्हारे तो घर पर भी इंटरनेट लगा है। मैने जबसे तुम्हे अपनी फे्रंड लिस्ट में एड किया है मैने देखा है कि तुम हमेशा तरह तरह के विडियो, फोटोस, और पता नही क्या क्या शेयर करते हो लेकिन कभी भी अपने मित्रों को ये नही बताते कि आज आपने न्यूज पेपर पढ़ा तो आपको कौन सी न्यूज अच्छी लगी या आपने आज कोई मूवी देखी तो उसके बारे में आपका क्या रिव्यू है और हमारे देश में पता नही कौन कौन सी समस्याएँ चल रही है वो हम सबको इनडारेक्टली तो प्रभावित करती ही हैं चाहे हम धन कुबेर ही क्यो न हो।   तुम याद करो वो स्कूल के दिन जब तुम अपने दोस्तों को ये बताते थे कि तुमने घर पर कौन सी नई कॉमिक्स पढ़ी या टीवी पर सीरियल देखा या ये कि तुमको मैथ्स के या अन्य किसी विषय में क्या परेशानी आ रही है। या तुम फलां टीचर के बारे में क्या सोचत हो तुम्हें कौन सी मेडम अच्छी लगती है। जब तुम बस से स्कूल आ रहे है तो आज बस में क्या हुआ आदि (मैने उसे बहुत लम्बा भाषण सुनाया यहाँ मै ज्यादा शेयर नही कर सकता क्योकि लेख लम्बा हो जायेगा और किसी की प्रायवेसी का भी सवाल है मै आपको इस लेख का सार बताता हूँ)
मैने उसको अंत में यही समझाया कि तुम फेसबुक पर उसी तरह हो जैसे चिराग में जिन्न होता है और हमें पता नही होता जब उस चिराग को रगड़ो तब ही वह हाजिर होता है हाजिर होने पर भी वह अपना हाल नही बताता बल्कि ये पूछता है क्या हुक्म है मेरे आका। ऐसे जिन्न से हमें कुछ सिखने को या हमें कुछ समझ में नही आता कि वो ये क्यों नही बोलता कि मुझे चिराग में गर्मी लगती है या सर्दी या आका आप कैसे हैं?

 
बेसरम के फूल की तरह किसी फ्रेंड की फ्रेंडलिस्ट में मत रहो जिससे कोई मनमोहक खुशबू ही न निकले, खुशबू से तात्पर्य किसी कि पोस्ट पर कमेंट्स न करना, अपना स्टेट्स पोस्ट न करना केवल फोटो विडियो ही शेयर करना, ये विडियो और फोटो आपके फेंडस् पर केवल अपनी छाप छोडते है ना कि आपकी। जैसे हर व्यक्ति को विभिन्न तरह के फूल अपनी खुशबू से स्वयं ही आकर्षित करते हैं वैसे फेसबुक पर स्टेट्स अपडेट करो। ये भी याद रखो कि यदि आप रियल लाइफ में सीनियर है अपने फेसबुक फेंड से तो इसका मतलब ये नही कि आप फेसबुक पर भी अपनी सीनियर्टी महसूस करें उसकी पोस्ट पर कमेंट और लाइक करने में कजंूसी करें। ये समझे कि फे्रं ड वर्ड फेसबुक ने क्यो यूस किया है ताकि कोई अपने फेंड को अपना रूतबा न दिखाये बल्कि उसका हित चाहे। ये बात अलग है कि आपको किन्हीं फेंडस् की पोस्ट का टेस्ट कभी अच्छा ही न लगे, तो इसका भी हल है फेसबुक ने अनफेंड आप्शन इसलिये ही हमें उपलब्ध कराया है।

और अब क्या लिखँू मुझसे ज्यादा आप जानते हैं कि हम सभी किन कारणों से अपने फेसबुक फ्रेंड को अनफ्रेंड करते हैं?

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